रोहतक | PUBLISHED BY: GARIMA-TIMES | PUBLISHED ON: 14 MAY, 2022
सांकेतिक
रोहतक। रोहतक का महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय पढ़ाई से ज्यादा गुंडागर्दी के लिए प्रसिद्ध हो रहा है। आये दिन मामूली कहासुनी बड़ी बड़ी रंजिशों का रूप ले रही है। पिछले दो दिन में छात्रों पर हमले की दो वारदातें हो चुकी हैं। देर रात बायज हास्टल-8 में हथियारों से लैस छात्रों ने एक छात्र पर जानलेवा हमला कर दिया। पहले उसे काफी ज्यादा पीटा फिर उसे छत से फेंक नीचे दिया। जान से मारने की धमकी देते हुए फरार हो गए।
घायल छात्र को उपचार के लिए पीजीआइ के ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया गया। विश्वविद्यालय प्रशासन ने इस घटना पर कड़ा संज्ञान लेते हुए पांच छात्रों को निलंबित कर हास्टल में प्रतिबंध लगाते हुए कैमरों पर ताले लगा दिए हैं। दो दिन पहले भी आरोपित छात्रों ने एक छात्रा और उसके सहपाठी के साथ मारपीट की थी। उधर, पुलिस ने भी आरोपितों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है।
विश्वविद्यालय के हास्टल-8 में यूआइइटी में बीटेक के छात्र शशांक सांगवान पर छह से सात छात्रों ने देर रात मारपीट की। हमलावरों के हाथों में लोहे की राड, बर्फ तोड़ने सूए और डंडे थे। शशांक के साथी हमले के दौरान वहां से भाग गए। शशांक की बेरहमी से पिटाई की और इसके बाद छत से नीचे फेंक दिया। उसके सिर में गहरी चोट लग गई। हमलावर इसके बाद वहां से फरार हो गए।
सूचना मिलने पर हास्टल वार्डन व सुरक्षा कर्मी मौके पर पहुंचे और घायल को उपचार के लिए पीजीआइ में भर्ती कराया गया। कुलपति ने मामले की गंभीरता को देखते हुए एक समिति गठित की। समिति की जांच रिपोर्ट के आधार पर यूआइआइटी के छात्र अरुण यादव व महेश कुमार, आइएचटीएम, के छात्र जतिन सोनी, विधि विभाग के छात्र सचिन तथा गणित विभाग के छात्र अभिनव को इस पूरे प्रकरण की जांच पूरी होने तक निलंबित कर दिया गया। एमडीयू कुलसचिव प्रो. गुलशन लाल तनेजा तथा चीफ वार्डन बॉयज प्रो. रणदीप राणा ने ट्रामा सेंटर जाकर छात्र शशांक सांगवान का हाल जाना तथा उनका ढांढस बंधाया। छात्र को उनके स्वजन अपने साथ घर ले गए हैं।
कुलसचिव प्रो. गुलशन लाल तनेजा ने बताया कि इस पूरे मामले को विश्विद्यालय नियमानुसार प्राक्टोरियल बोर्ड को जरूरी कार्रवाई हेतु सौंपे जाने का निर्णय भी लिया गया है। उन्होंने बताया कि जब तक जांच पूरी नहीं हो जाती, तब तक सभी आरोपित छात्रों को उनके विभागों, हास्टल में प्रतिबंध रहेगा। आरोपितों के कमरों पर भी ताला लगा दिया गया है। हास्टल में सुरक्षा पहले से ज्यादा बढ़ा दी है। बताया जाता है कि दो दिन पहले भी एक छात्रा और उसके सहपाठी के साथ मारपीट की गई थी। इसकी भी जांच करवाई जाएगी।
एमडीयू कुलपति प्रो. राजबीर सिंह ने कहा कि विश्वविद्याय परिसर में किसी प्रकार की अनुशासनहीनता स्वीकार्य नहीं। विश्वविद्यालय में इस प्रकार की किसी अनुचित कार्य पर प्रशासन कड़ाई के साथ उचित अनुशासनात्मक कार्रवाई करेगा।